कर्नाटक चुनाव: BJP उम्मीदवार श्रीरामूलु पर CJI को घूस देने का आरोप लगा, कांग्रेस ने एफआईआर दर्ज करने की मांग की

कांग्रेस ने चुनाव आयोग से बीजेपी उम्मीदवार बी श्रीरामुलू के खिलाफ भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगने के बाद कर्नाटक विधानसभा चुनाव में उनकी उम्मीदवारी रद्द करने की मांग की। देश के पूर्व चीफ जस्टिस (सीजेआई) के एक रिश्तेदार को श्रीरामुलू द्वारा कथित तौर पर घूस देने की कोशिश करने से संबंधी एक वीडियो सोशल मीडिया में वायरल होने के बाद कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल और रणदीप सुरजेवाला ने आयोग से इस मामले में एफआईआर दर्ज कर उपयुक्त कार्रवाई करने की मांग की।
सिब्बल ने पार्टी की तरफ से आयोग के समक्ष इस मामले में याचिका दर्ज करने के बाद कहा, ‘हमने आयोग से श्रीरामुलू की उम्मीदवारी रद्द कर चुनाव लड़ने से अयोग्य ठहराने की मांग की है। उन्होंने बताया कि मीडिया में इस मामले का प्रकाशन और प्रसारण रोकने के लिये कल कर्नाटक के मुख्य चुनाव अधिकारी द्वारा जारी किये गये आदेश को भी रद्द करने की आयोग से मांग की है। जिससे मीडिया निष्पक्षता और निर्भीकता से अपना काम कर सके।
उल्लेखनीय है कि इस मामले में जारी किये गये दो वीडियो में साल 2010 में बीजेपी नेता श्रीरामुलू और जी जनार्दन रेड्डी पूर्व सीजेआई के रिश्तेदार को घूस की रकम के लेनदेन के बारे में बातचीत करते दिखाए गए हैं। वीडियो का प्रसारण गुरुवार कर्नाटक के एक स्थानीय चैनल पर भी किया गया । इसके बाद मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने उक्त चैनल को इसके प्रसारण पर रोक लगाने का निर्देश जारी कर दिया।
सिब्बल ने बताया कि कर्नाटक चुनाव में सोशल मीडिया के मार्फत नफरत फैलाने वाली मुहिम चलायी जा रही है। इसमें कांग्रेस और पाकिस्तान के झंडे एक साथ दिखाये जा रहे है। सिब्बल ने शनिवार को होने वाले मतदान में अब सिर्फ एक दिन शेष होने का हवाला देते हुये आयोग से इस तरह के अभियान पर तत्काल रोक लगाने की मांग की है। उन्होंने कहा कि अगर इस दिशा में आयोग द्वारा तत्काल कारगर पहल नहीं की गयी तो समूची निर्वाचन प्रक्रिया की निष्पक्षता संदेह के घेरे में आ जायेगी।
सुरजेवाला ने कहा कि गुरुवार को जारी हुये वीडियो से एक बार फिर साफ हो गया कि कर्नाटक की पूर्व येदुरप्पा सरकार के कार्यकाल में 35000 करोड़ रुपये का खनन घोटाला हुआ। उन्होंने कहा, ”तथ्यों और सबूतों से पता चला है कि इस मामले में भाजपा नेताओं श्रीरामुलू और रेड्डी की संलिप्तता को देखते हुये इनके खिलाफ भ्रष्टाचार निरोधक कानून और भारतीय दंड संहिता के तहत तत्काल मुकदमा दर्ज कर गिरफ्तार किया जाए।”