पीएनबी घोटाला : नीरव मोदी को ढूंढ़ने के लिए ईडी ने इंटरपोल से मांगी मदद

नई दिल्ली : प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने अरबों रुपये के पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) घोटाले के मुख्य आरोपी भगोड़े हीरा कारोबारी नीरव मोदी और उसके परिवार को ढूंढने के लिए इंटरपोल से मदद मांगी है। सूत्रों के मुताबिक, एजेंसी ने पिछले हफ्ते इंटरपोट से मोदी को ढूंढ़ने और उसे गिरफ्तार करने का अनुरोध किया था, जो जनवरी के पहले हफ्ते से ही अपने परिवार के साथ देश से फरार है। इसके कुछ ही हफ्तों बाद केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को इस घोटाले की सूचना दी गई थी, जो इस मामले में आपराधिक मामलों की जांच कर रही है।
पीएनबी को धोखा देने के मामले में गीतांजलि समूह के प्रमोटर मोदी और उसके व्यापारिक सहयोगी और मामा मेहुल चौकसी के खिलाफ ईडी और सीबीआई की जांच चल रही है, जिसके तहत यह कदम उठाया गया है। 2013 से ही मोदी के समूह की कंपनियों- डायमंड आर यूएस, स्टीलर डायमंड और सोलर एक्सपोर्ट्स और अन्य के समृद्ध और जाने-माने भारतीय खरीदार रहे है। पीएनबी ने मोदी और उसके समूह की कंपनियों के 13,500 करोड़ रुपये के घोटाले की सूचना दी थी। इस घोटाले ने देश के बैंकिंग प्रणाली में बड़े पैमाने पर उथलपुथल मचा दी है।
सीबीआई ने भी मोदी को ढूंढने के लिए फरवरी में इंटरपोल से संपर्क किया था। मोदी की पत्नी अमी एक अमेरिकी नागरिक है, जिसने 6 जनवरी को देश छोड़ दिया था और मोदी के मामा चौकसी ने 4 जनवरी को देश छोड़ दिया था। सीबीआई को दी गई कई शिकायतों में पीएनबी ने दावा किया है कि उसके अधिकारियों ने मोदी को कई लेटर ऑफ अंडरटेकिंग (एलओयू) जारी किए गए, जिससे बैंक को भारी नुकसान हुआ है।
एलओयू एक बैंक की शाखा की ओर से अन्य बैंकों को जारी किया जाता है, जिसके आधार विदेशी शाखाओं की ओर से खरीदार को कर्ज दिया जाता है। इसकी जिम्मेदारी एलओयू जारी करने वाले बैंक की होती है। इस मामले में जारी जांच में, ईडी ने मंगलवार को मोदी के फायरस्टार ग्रुप के उपाध्यक्ष श्याम सुंदर वाधवा को गिरफ्तार कर लिया और अब तक देश भर में 251 संपत्तियों को जब्त किया है। इसमें हीरे सोना, मोती समेत कई कीमती पत्थरों को जब्त किया है। ईडी ने दावा किया है कि उसने मोदी और उसके कारोबारी समूहों से जुड़े 7,638 करोड़ रुपये की अचल संपत्तियों को जब्त किया है।